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हायर एजुकेशन और नया बिजनेस शुरू करने की खातिर पैसा निकाल सकेंगे NPS अंशधारक

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राष्ट्रीय पेंशन योजना ( एनपीएस ) के अंशधारक अब उच्च शिक्षा तथा नया कारोबार स्थापित करने के लिए अपने खातों से आंशिक रूप से पैसा निकाल सकेंगे. पेंशन कोष नियामक व विकास प्राधिकार (पीएफआरडीए) ने कहा है कि उसके निदेशक मंडल की पिछले सप्ताह हुई बैठक में इस बाबत फैसला किया गया है.
प्राधिकार ने एक बयान में कहा है कि अब एनपीएस के उन अंशधारकों को भी आंशिक निकासी की अनुमति होगी, जो अपनी रोजगार क्षमता बढ़ाना चाहते हैं या उच्च शिक्षा में जाना चाहते हैं अथवा पेशेवर या तकनीकी योग्यता हासिल करना चाहते हैं. इसी तरह नया कारोबार स्थापित करने या नये कारोबार का अधिग्रहण करने के इच्छुक एनपीएस अंशधारकों को भी आंशिक निकासी की अनुमति होगी.
गौरतलब है कि एनपीएस केंद्र सरकार का प्रमुख सामाजिक सुरक्षा कार्यक्रम है. बयान के अुनसार, निदेशक मंडल ने एनपीएस के निजी क्षेत्र अंशधारकों के लिए ‘एक्टिव च्वाइस’ श्रेणी में इक्विटी निवेश की सीमा को मौजूदा 50 फीसदी से बढ़ाकर 75 फीसदी करने का फैसला किया गया है. हालांकि, इक्विटी में निवेश बढ़ाने का विकल्प ग्राहकों के लिए 50 साल तक की आयु तक उपलब्ध होगा.
एनपीएस में अंशधारकों को दो निवेश विकल्पों ‘ऑटो च्वाइस’ और ‘एक्टिव च्वाइस’ में पोर्टफोलियो बनाने की अनुमति है. एनपीएस और अटल पेंशन योजना (एपीवाई) का नियमन पीएफआरडीए कर रहा है. इनका संचयी ग्राहक आधार 2.13 करोड़ से अधिक है.पेंशन कोष नियामक एवं विकास प्राधिकरण (पीएफआरडीए) ने राष्ट्रीय पेंशन योजना (एनपीएस) में प्रवेश की उम्र सीमा बढाकर 65 वर्ष किए जाने का प्रस्ताव किया है. इसे वह 70 वर्ष की आयु तक जारी रख सकते हैं. वित्त मंत्रालय ने आज एक बयान जारी कर कहा कि पीएफआरडीए ने एनपीएस में प्रवेश की आयु को 60 वर्ष से बढाकर 65 वर्ष किए जाने का प्रस्ताव रखा है. इसे 70 वर्ष की आयु तक जारी रखने का विकल्प होगा.
पीएफआरडीए के चेयरमैन हेमंत कॉन्ट्रैक्टर ने कहा कि कंपनियों को एनपीएस को एक अतिरिक्त सेवानिवृत्ति लाभ के रुप में इस्तेमाल करने की संभावना पर विचार करना चाहिए. खासकर के उन स्थानों पर जहां सेवानिवृत्ति निधि का लाभ उपलब्ध नहीं है और उनके कर्मचारी केवल अनिवार्य कर्मचारी भविष्य निधि की योजनाओं के तहत ही लाभांवित होते हैं

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