Comments Off on ‘लकी ग्राहक योजना’ और ‘डिजी धन व्यापार योजना’ लॉन्‍च, डिजिटल भुगतान करें करोड़ों के ईनाम पायें 8

‘लकी ग्राहक योजना’ और ‘डिजी धन व्यापार योजना’ लॉन्‍च, डिजिटल भुगतान करें करोड़ों के ईनाम पायें

अर्थव्यवस्था, ताज़ा ख़बर, ताज़ा समाचार, दिल्ली

नोटबंदी के बाद डिजिटल भुगतान को प्रोत्साहन देने के लिए सरकार ने क्रिसमस के दिन से पुरस्कार देने की घोषणा की है. यह पुरस्कार उपभोक्ताओं के साथ साथ दुकानदारों को भी दिये जायेंगे. पुरस्कार दैनिक, सप्ताहिक आधार पर दिये जायेंगे साथ ही बडा नकद पुरस्कार भी दिया जायेगा.
कुल 340 करोड रुपये के पुरस्कार दिए जाएंगे. नीति आयोग के मुख्य कार्यकारी अधिकारी अमिताभ कान्त ने ‘लकी ग्राहक योजना’ और ‘डिजी धन व्यापार योजना’ की घोषणा करते हुए कहा कि इनके दायरे में 50 रुपये से लेकर 3,000 रुपये तक के छोटे लेनदेन आएंगे. इसका मकसद समाज के प्रत्येक वर्ग को डिजिटल भुगतान के लिए प्रोत्साहित करना है.
कान्त ने इसे देशवासियों के लिए क्रिसमस का तोहफा करार दिया. उन्होंने कहा कि इसका पहला ड्रॉ 25 दिसंबर को होगा और ‘मेगा ड्रॉ’ 14 अप्रैल को बी आर अम्बेडकर की जयंती पर होगा. नेशनल पेमेंट कारपोरेशन ऑफ इंडिया (एनपीसीआई) 25 दिसंबर से अगले 100 दिन तक 15,000 विजेताओं की घोषणा करेगा. प्रत्येक विजेता को 1,000 रुपये दिए जाएंगे.
ग्राहकों तथा दुकानदारों के लिए 7,000 साप्ताहिक पुरस्कार होंगे. नीति आयोग के सीईओ ने कहा कि इन योजनाओं के जरिये हमारा लक्ष्य गरीब, मध्यम वर्ग तथा छोटे कारोबारी हैं. हम उन्हें डिजिटल भुगतान क्रान्ति में लाना चाहते हैं. उपभोक्ताओं के लिए मेगा पुरस्कार एक करोड़ रुपये, 50 लाख और 25 लाख रुपये का होगा. मर्चेंट या दुकानदारों के लिए यह 50 लाख, 25 लाख और 5 लाख रपये होगा.
डिजिटल भुगतान को प्रोत्साहन देने की इस योजना पर अनुमानित खर्च 340 करोड रुपये आएगा. उन्होंने कहा कि 500, 1,000 रुपये के नोट बंद होने के बाद पीओएस लेनदेन में आठ नवंबर से सात दिसंबर के बीच 95 प्रतिशत का उछाल आया है. रुपे कार्ड से लेनदेन 316 प्रतिशत और ई-वॉलेट से 271 प्रतिशत बढा है.
दूसरी तरफ यूपीआई और यूएसएसडी के जरिये लेनदेन 1200 प्रतिशत बढा है. कान्त ने कहा कि यूपीआई, यूएसएसडी, आधार के जरिये भुगतान प्रणाली और रपे कार्ड से किया गया सभी तरह का भुगतान लकी ड्रा में शामिल किये जायेंगे. नीति आयोग ने स्पष्ट किया है कि निजी क्रेडिट काडोंर् और निजी कंपनियों के ई-वॉलेट के जरिये किये गये लेनदेन पर यह योजना लागू नहीं होगी.

Back to Top

Search